खादी को बढ़ावा देने के लिए प्रदेश अध्यक्ष दिलीप जायसवाल ने खादी मॉल से की खादी उत्पादों की खरीदारी

खादी के प्रति जागरूकता और स्वदेशी उत्पादों को प्रोत्साहन देने के लिए आज पटना के गांधी मैदान स्थित खादी मॉल में एक विशेष आयोजन किया गया। इस आयोजन में प्रदेश अध्यक्ष दिलीप जायसवाल ने खादी उत्पादों की खरीदारी कर खादी उद्योग को समर्थन देने की अपील की। उनके साथ इस महत्वपूर्ण अवसर पर विधायक अरुण सिन्हा, बिहार विधान परिषद मे भाजपा के मुख्य सचेतक संजय मयूख,महामन्त्री जगन्नाथ ठाकुर,विधान परिषद सदस्य प्रमोद चंद्रवंशी,उपाध्यक्ष धीरेंद्र सिंह,संजय गुप्ता,दानिश इक़बाल,अमित प्रकाश बबलू,ज्ञान प्रकाश ओझा,आशुतोष शंकर,राजीव रंजन,भारती पासवान उपस्थित थे।

खादी को बढ़ावा देने की पहल के मौके पर प्रदेश अध्यक्ष डॉ दिलीप जायसवाल ने कहा, “खादी न केवल हमारे देश की सांस्कृतिक धरोहर है, बल्कि यह आत्मनिर्भरता और स्वावलंबन का प्रतीक भी है। महात्मा गांधी के सपनों के भारत को साकार करने और आत्मनिर्भर भारत की दिशा में यह एक महत्वपूर्ण कदम है।” उन्होंने खादी उत्पादों की खरीदी के माध्यम से लोगों से खादी अपनाने और इसे अपने दैनिक जीवन का हिस्सा बनाने की अपील की।

इस अवसर पर डॉ दिलीप जायसवाल ने खादी के महत्व पर जोर देते हुए कहा कि खादी वस्त्र न केवल पर्यावरण के अनुकूल हैं, बल्कि ग्रामीण कारीगरों और बुनकरों के रोजगार का भी प्रमुख साधन हैं। डॉ जायसवाल ने कहा कि खादी को अपनाकर हम ग्रामीण क्षेत्रों में आर्थिक विकास को बढ़ावा दे सकते हैं। उन्होंने कहा कि सरकार और संगठन द्वारा खादी के प्रचार-प्रसार के लिए लगातार प्रयास किए जा रहे हैं, और ऐसे आयोजनों से खादी उद्योग को नई ऊंचाइयों पर पहुंचाया जा सकता है।

डॉ दिलिप जायसवाल ने यह भी कहा कि खादी न केवल भारत के स्वतंत्रता संग्राम से जुड़ी है, बल्कि यह हमारे देश की आत्मनिर्भरता की पहचान भी है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘वोकल फॉर लोकल’ अभियान के तहत खादी को बढ़ावा देने की इस मुहिम का उद्देश्य छोटे कारीगरों और स्थानीय उद्योगों को सशक्त बनाना है। उन्होंने इस मौके पर खादी मॉल के महत्व और इसके जरिए खादी उत्पादों को बड़े स्तर पर बाजार में लाने की बात कही।


इस आयोजन का मुख्य उद्देश्य आम जनता को खादी के प्रति जागरूक करना और उन्हें इसके उपयोग के लिए प्रेरित करना था। खादी मॉल में आयोजित इस कार्यक्रम में बड़ी संख्या में लोग उपस्थित रहे, जिन्होंने खादी के विभिन्न उत्पादों में रुचि दिखाई। इस तरह के कार्यक्रमों के माध्यम से खादी उत्पादों को राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाई जा रही है, जिससे यह उद्योग और अधिक सशक्त हो सकेगा।

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