
बिहार राज्य मत्स्यजीवी सहकारी संघ (कॉफ्फेड) ने नीतीश सरकार को परंपरागत मछुआरा समाज के हितों से खिलवाड़ न करने के लिए चेतावनी दी है। सरकार नियमों को ताक पर रखकर राज्य के जलाशयों की खुली डाक से बंदोबस्ती करना अविलंब बंद करें। जलाशयों की बंदोबस्ती मछुआ समिति के साथ करे सरकार।
कॉफ्फेड के अध्यक्ष, प्रयाग सहनी ने कहा कि जागरूक परंपरागत मछुआरा समाज को अब कोई राजनीतिक दल बरगला नहीं सकता है। यह बात नीतीश सरकार और अन्य राजनैतिक पार्टियों को समझना पड़ेगा। जलाशय की बंदोबस्ती खुली डाक से करने के सरकार के फैसले से परंपरागत मछुआरा समाज प्रत्यक्ष रूप से प्रभावित हो रहा है। सरकार के फैसले के विरुद्ध कैमूर के दुर्गावती जलाशय एवं रोहतास के इंद्रपुरी जलाशय में कॉफ्फेड गत् वर्ष जल सत्याग्रह कर चुका है। राज्य सरकार ने जल माफियाओं से गठजोड़ करके हजारों परंपरागत मछुआरों को बेरोजगार करने के उद्देश्य से राज्य से जिला स्तर तक के अधिकारियों की मिली-भगत से उक्त जलाशयों का खुली डाक से बन्दोबस्ती गैर मछुआरों के साथ कर दिया गया। नतीजतन इंद्रपुरी जलाशय के इर्द-गिर्द कुल 8 प्रखण्ड़ों के मछुआ समिति के सदस्य बेरोजगारी के शिकार हो गए।
कॉफ्फेड के प्रबंध निदेशक ऋषिकेश कश्यप ने बताया कि राज्य के सभी विभागों के तालाबों, जलकरों एवं जलाशयों को पशु एवं मत्स्य संसाधन विभाग में हस्तांतरण एवं जलाशयों की बंदोबस्ती मछुआ समिति के साथ करने हेतु माननीय उच्च न्यायालय, पटना में कॉफ्फेड के द्वारा रिट याचिका दायर किया गया था। न्यायालय के आदेश के पश्चात् जल संसाधन विभाग के सभी जलाशयों को पशुपालन एवं मत्स्य विभाग, बिहार सरकार को हस्तांतरित कर दिया गया। विभाग जलाशयों की बंदोबस्ती बिहार जलकर प्रबंधन अधिनियम 2006 के आलोक में मछुआ समिति के साथ नहीं किया गया। परांपरागत् मछुआरों को बेरोजगार करने के उद्देश्य से बिहार राज्य जलाशय मात्स्यिकी नीति 2022 लागू किया गया। जो मछुआ विरोधी है इस नीति का विरोध कॉफ्फेड के द्वारा प्रारम्भ से ही किया जा रहा है। सरकार के आश्वासन के बावजूद इंद्रपुरी जलाशय की खुली डाक से बंदोबस्ती कर दी गई। इस निर्णय से रोहतास जिला के हजारों-हजार परम्परागत मछुआरों में आक्रोशित है। निर्णय के विरूद्ध जिले के प्रत्येक प्रखण्ड के मछुआ समितियों के द्वारा संघ के नेतृत्व में जिला मत्स्य कार्यालय, रोहतास पर प्रखण्ड मत्स्यजीवी समितियों/परम्परागत मछुआरों के द्वारा गत् वर्ष धरना-प्रदर्शन किया गया था। इसके बावजूद जिला मत्स्य पदाधिकारी, रोहतास ने इंद्रपुरी जलाशय का खुली डाक से गैर मछुआरों के साथ बंदोबस्ती कर दिया।
राकेश कुमार, लाल बाबू सहनी, प्रदीप कुमार सहनी एवं मदन कुमार, निदेशकगण् एवं पूर्व उपाध्यक्ष, दिनेश सहनी ने संयुक्त रूप से कहा कि नीतीश सरकार के पशु एवं मत्स्य संसाधन विभाग जलाशयों, तालाबों एवं सदाबहार नदियों की बन्दोबस्ती खुली डाक से करके बिहार जलकर प्रबंधन अधिनियम 2006 का उल्लंघन कर रहे है। जो नियमों का घोर उल्लंघन है। इस अवसर पर बंटी कुमार, मंत्री, रोह प्रखण्ड, नावादा उपस्थित थे।