
राजद प्रवक्ता चित्तरंजन गगन ने मुख्यमंत्री श्री नीतीश कुमार जी द्वारा शिक्षक बहाली के लिए टीआरई 4 (TRE. 4 ) लेने की घोषणा को मात्र चुनावी जूमला बताते हुए कहा कि मुख्यमंत्री जी ने शिक्षा विभाग से अभी रिक्तियां हीं मांग रहे हैं। जबकि सरकार के पास रिक्तियों का आंकड़ा पहले से उपलब्ध है। बिहार में अभी शिक्षकों के तीन लाख से ज्यादा पद खाली है ।शिक्षक बहाली के लिए यदि मुख्यमंत्री जी की मंशा साफ है तो उन्हें डोमिसाइल के साथ बहाली के लिए तत्काल नोटिफिकेशन जारी कर महागठबंधन सरकार के समय वाली रफ्तार से बहाली की प्रक्रिया शुरू करनी पड़ेगी। जो की इस एनडीए सरकार में वह किसी भी हाल में संभव नहीं है। सच्चाई यह है कि टीआरई 3 की प्रक्रिया 20 महीने बीत जाने के बाद भी अभी पुरी नहीं हो पाई है।
राजद प्रवक्ता ने कहा कि मुख्यमंत्री जी को अब शिक्षक बहाली के लिए टीआरई 4 की अचानक याद आ गई है जब आधा जुलाई बीत चुका है। और अगले एक -डेढ महीने में बिहार विधानसभा चुनाव की घोषणा होने वाली है।एनडीए सरकार की जो कार्यप्रणाली है उसके हिसाब से यदि अभी नोटिफिकेशन भी जारी किया जाता है तो वह चुनाव आचार संहिता में फंस जाएगा। मुख्यमंत्री जी की घोषणा भी आधी-अधूरी है। उन्होंने महिलाओं के लिए आरक्षित पदों पर तो डोमिसाइल लागू करने की चर्चा की है। पर पीछली नियुक्तियों में बिहार के अभ्यर्थियों के साथ हुई नाइंसाफी को देखते हुए बिहार में शत प्रतिशत ‘डोमिसाइल’ लागू करने की अभ्यर्थियों की मांग को नजरंदाज कर दिया गया है।
राजद प्रवक्ता ने कहा कि पिछले कई सालों से बिहार में एसटीईटी की परीक्षा नहीं हुई है। मुख्यमंत्री जी को इस सम्बन्ध में भी स्थिति स्पष्ट करनी चाहिए। इसके साथ हीं 26000 कम्प्यूटर शिक्षकों की बहाली पर भी चुप्पी से सरकार के नियत पर संशय और भी ज्यादा बढ़ गया है।